Symptoms of Heart Attack: कोरोना से तो हम उभर चुके हैं और इम्युनिटी को बढाने पर हम सभी जोर दे रहे हैं। लेकिन, कोविड के बाद से ही हर तरफ हृदय रोग और हार्ट अटैक की बढती समस्या देखि जा रही है। हार्ट अटैक वैश्विक स्तर पर बढ़ती समस्या है जिसका शिकार युवा और कम उम्र के लोग भी हो रहे हैं। हार्ट अटैक जानलेवा स्थिति है, कोरोनरी धमनियों के अवरुद्ध हो जाने के कारण ये दिक्कत होती है। यदि इस स्थिति को अनुपचारित छोड़ दिया जाए तो हृदय तक रक्त का प्रवाह रुक जाता और पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिल पाता है। इससे जान जाने का खतरा रहता है। एनसीआरबी के आंकड़ों के मुताबिक साल 2022 में 32,457 लोगों की दिल का दौरा पड़ने से मौत हुई। ये खतरा साल-दर-साल बढ़ता ही जा रहा है।
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, हार्ट अटैक के संकेतों की अगर समय रहते पहचान कर रोगी को सीपीआर दे दी जाए तो इससे जान बचने की संभावना बढ़ जाती है। हालांकि, ध्यान देने वाली बात ये भी है कि कई अन्य स्वास्थ्य समस्याओं के लक्षण भी हार्ट अटैक जैसे ही हो सकते हैं। इसलिए इनमें अंतर कर पाना और समय रहते इसकी पहचान जरूरी है।
दिल का दौरा पड़ने के लक्षण | Symptoms of Heart Attack
पहले हार्ट अटैक के लक्षणों को जानना जरूरी है। दिल का दौरा तब पड़ता है जब हृदय की मांसपेशियों में रक्त का प्रवाह कम या बंद हो जाता है। इसके लक्षण हर व्यक्ति में अलग-अलग होते हैं और कुछ लोगों में कोई भी लक्षण नहीं हो सकते हैं। ज्यादातर लोगों को हार्ट अटैक के कारण सीने में दर्द, सीने के बीच या बाईं ओर तेज दर्द, दबाव, निचोड़ने जैसा अनुभव या भरीपन हो सकता है। ये सबसे आम संकेत है। यह दर्द हाथ, जबड़े, गर्दन, पीठ, कंधों तक भी फैल सकता है। इसके अलावा सांस की तकलीफ होना बिना किसी कारण के ठंडा पसीना आना भी हार्ट अटैक का संकेत होता है। इसी तरह के लक्षण कई अन्य स्थितियों में भी हो सकते हैं, आइए इस बारे में जानते हैं।
पैनिक अटैक की समस्या | Symptoms of Heart Attack
पैनिक अटैक के लक्षण भी हार्ट अटैक से काफी मिलते-जुलते होते हैं। इन दोनों में सबसे बड़ा अंतर ये है कि पैनिक अटैक के लक्षण धीरे-धीरे कम हो जाते हैं और लगभग 20 मिनट के भीतर अपने आप ठीक हो जाते हैं। हालांकि, हार्ट अटैक के लक्षण समय के साथ बिगड़ सकते हैं और उपचार न मिलने से इसके जानलेवा जोखिम भी हो सकते हैं। पैनिक अटैक अत्यधिक तनाव या चिंता के दौरान अचानक शुरू होता है जिसमें हृदय गति काफी बढ़ जाती है। इसके अलावा सांस फूलने, पसीना आने, हाथों में झुनझुनी होने की भी दिक्कत देखी जाती है।
हार्ट बर्न की स्थिति | Symptoms of Heart Attack
हार्टबर्न, एनजाइना और हार्ट अटैक एक जैसे लग सकते हैं। हार्टबर्न तब होता है जब पाचन में सहायक एसिड किसी कारण से उस नली में चले जाते हैं जो भोजन को आपके पेट (ग्रासनली) तक ले जाती है। हार्ट बर्न में सीने में दर्द लेटने या झुकने पर बढ़ जाता है। इसके अलावा निगलने में कठिनाई, पेट में भारीपन या सूजन जैसा हो सकता है। हार्ट बर्न की स्थिति उसी तरह की बेचैनी पैदा कर सकती है जैसा हार्ट अटैक में होता है। इन दोनों में एक महत्वपूर्ण अंतर यह है कि दिल के दौरा में दर्द साथ छाती में दबाव, जकड़न या निचोड़ने जैसा महसूस होता है। यह बाएं कंधे, हाथ और गर्दन तक फैल सकता है। वहीं हार्टबर्न में जलन जैसा महसूस होता है और यह गले तक जा सकती है।
ब्रोकन हार्ट सिंड्रोम | Symptoms of Heart Attack
ब्रोकन हार्ट सिंड्रोम, जिसे स्ट्रेस कार्डियोमायोपैथी के नाम से भी जाना जाता है, ये तब होता है जब कोई व्यक्ति अचानक बहुत ज्यादा तनाव का अनुभव करता है। इसके कारण सीने में दर्द, सांस की तकलीफ, पसीना आने, चक्कर आने जैसे लक्षण हो सकते हैं जो देखने में हार्ट अटैक की तरह लगते हैं।
हार्ट अटैक आमतौर पर हृदय की धमनी के पूरी तरह या लगभग पूरी तरह से ब्लॉक हो जाने के कारण होता है। जबकि ब्रोकन हार्ट सिंड्रोम में हृदय की धमनियां ब्लॉक नहीं होती हैं। इसमें तुरंत डॉक्टरी सलाह जरूरी है।