डाइट और फिटनेस

इस उम्र के बाद मां की Diet में शामिल करें ये चीजें, कई परेशानियों की हो जाएगी छुट्टी

मां अक्सर बच्चों का ध्यान रखते-रखते अपना ध्यान रखना भूल जाती हैं। इसलिए आपका फर्ज है कि आप उनकी सेहत का ख्याल रखें। एक उम्र के बाद महिलाओं को कई तरह की समस्याएं होने लगती हैं, जिसमें कमर दर्द और जोड़ों का दर्द काफी कॉमन है। अगर आप अपनी मां को इन समस्याओं से दूर रखना चाहते हैं, तो उनके आहार पर ध्यान दें। इस मदर्स डे (12 March) के मौके पर हम आपको कुछ ऐसे आहार के बारे में बताएंगे, जिसे शामिल करने से आप अपनी मां को लंबे समय तक स्वस्थ रख सकते हैं। इससे कमर और जोड़ों के दर्द से छुट्टी मिल जाएगी।

इस बारे में नोएडा स्थित मानस हॉस्पिटल और डाइट मंत्रा क्लीनिक की डायटीशियन कामिनी कुमारी से जानते हैं 55 के बाद आप अपनी मां को स्वस्थ रखने के लिए किस तरह के आहार दे सकते हैं?

बीन्स

बीन्स पोषण का एक बड़ा स्रोत हैं, इसमें काफी अच्छी मात्रा में आयरन, कैल्शियम, फाइबर, मैग्नीशियम, फास्फोरस, कार्बोहाइड्रेट, वसा, सोडियम और पोटेशियम जैसे पोषक तत्व होते हैं। इससे खराब कोलेस्ट्रॉल एलडीएल को कम करने में मदद मिल सकती है। साथ ही स्वस्थ फाइबर की मात्रा होती है, जो पाचन के लिए अच्छा होता है। इसके साथ बढ़ती उम्र में होने वाले दर्द और सूजन से भी आराम दिला सकता है। इसके अलावा आयरन की कमी को भी दूर कर सकता है।

हरी पत्तेदार सब्जियां

आप अपनी मां को हरी पत्तेदार सब्जियां जैसे- केल, पालक, कोलार्ड साग और शलजम साग जैसी गहरे रंग की पत्तेदार सब्जियां खिला सकते हैं। यह कैल्शियम, विटामिन के और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्वों का भंडार होता है। इससे हड्डियों का घनत्व अच्छा होता है। इससे कमर दर्द और जोड़ों के दर्द से काफी हद तक आराम मिल सकता है।

नट्स और बीज

बादाम, चिया बीज और अलसी के बीज कैल्शियम, मैग्नीशियम और फास्फोरस के काफी अच्छे सोर्स होते हैं। यह हड्डियों के स्वास्थ्य को बढ़ाने के लिए फायदेमंद है। वे स्वस्थ वसा भी प्रदान करते हैं, जो समग्र स्वास्थ्य का समर्थन करते हैं। इसके साथ ही यह पोषक तत्वों के अवशोषण में सहायता होते हैं। नट्स या बीजों का एक अच्छा विकल्प एक चम्मच बादाम बटर हो सकता है।

रागी

रागी आयरन और कैल्शियम का अच्छा सोर्स होता है, जो हड्डियों और मसल्स के लिए फायदेमंद है। अगर आप चाहते हैं कि आपकी मां लंबी उम्र तक स्वस्थ रहे, तो उन्हें रागी से बनी चीजें जरूर खिलाएं।

फैटी फिश

सैल्मन, मैकेरल और सार्डिन जैसी फैटयुक्त मछलियां विटामिन डी और ओमेगा-3 फैटी एसिड से भरपूर होते हैं। इसमें मौजूद विटामिन डी आंतों में कैल्शियम अवशोषण के लिए महत्वपूर्ण है और हड्डियों के घनत्व को बनाए रखने में महत्वपूर्ण है। मछली के तेल में पाए जाने वाले ओमेगा-3 फैटी एसिड में सूजन-रोधी गुण होते हैं। यह हड्डियों के नुकसान और फ्रैक्चर के जोखिम को कम करके हड्डियों के स्वास्थ्य को लाभ पहुंचाता है।

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