Sinus Infection: श्वसन से संबंधित बीमारी हमेशा से एक गंभीर समस्या रही है, वैश्विक स्तर पर हर साल लाखों लोगों की इससे मौत हो जाती है। साइनस ऐसी ही एक समस्या है जिसके कारण स्वास्थ्य क्षेत्र पर अतिरिक्त दबाव बढ़ता जा रहा है। भारत में भी ये समस्या बढ़ती देखी जा रही है। एक अनुमान के मुताबिक 134 मिलियन (13.4 करोड़) से अधिक भारतीय क्रोनिक साइनोसाइटिस से पीड़ित हैं। ये संख्या जापान की कुल आबादी से कहीं आधिक है। साल 2023 में जापान की आबादी 12.45 करोड़ थी।
साइनस (Sinus) हमारे सिर में स्थित वायु कक्ष (एयर कैविटी) होते हैं, जो नाक के चारों ओर मौजूद होते हैं। ये नाक में नमी बनाए रखते हैं और हानिकारक कणों को रोकने में मदद करते हैं। जब साइनस में सूजन या संक्रमण हो जाता है, तो इसे साइनोसाइटिस कहा जाता है। इससे चेहरे में दर्द, नाक बंद या बहना, लगातार छींक आने और कभी-कभी बुखार और अन्य लक्षण हो सकते हैं। आमतौर पर सामान्य सर्दी के कारण ये समस्या हो सकती है। वायरस, बैक्टीरिया, फंगस और एलर्जी साइनोसाइटिस का कारण बन सकते हैं।
बैक्टीरियल संक्रमण की वजह से होती है समस्या | Sinus Infection
साइनस कई प्रकार का हो सकता है। एक्यूट साइनोसाइटिस का संक्रमण 10-14 दिनों तक रहता है और अधिकतम 4 हफ्तों में ठीक हो जाता है, जबकि क्रोनिक साइनोसाइटिस के लक्षण 12 सप्ताह से अधिक समय तक बने रहते हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, सामान्य सर्दी-जुकाम के कारण साइनस में सूजन हो सकती है। जिन लोगों को पहले से ये बीमारी रही है उनमें ये समस्या साइनस को ट्रिगर कर सकती है। बैक्टीरियल संक्रमण के कारण साइनस में पस भर जाता है, वहीं धूल, पराग और धुआं के कारण भी साइनस की समस्या के बढ़ने का खतरा हो सकता है।
साइनोसाइटिस के कारण क्या दिक्कतें होती हैं? | Sinus Infection
साइनोसाइटिस की स्थिति आपको कई प्रकार से प्रभावित करने वाली हो सकती है। इसके कारण सांस लेने में कठिनाई होती है। इसके साथ सिरदर्द और चेहरे में दर्द बना रह सकता है। साइनोसाइटिस में माथे, आंखों, गाल और नाक के आसपास दर्द होता है, ये इसकी मुख्य पहचान है। संक्रमण की स्थिति बार-बार और लगातार छींक आते रहने, नाक से बलगम आने, गले में जलन और खांसी, बुखार और थकान की भी दिक्कत होने लगती है। साइनस बंद होने के कारण गंध और स्वाद की क्षमता प्रभावित हो सकती है।

अगर आपको भी हो ये समस्या तो क्या करें? | Sinus Infection
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, जिन लोगों को साइनोसाइटिस की दिक्कत होती है उन्हें कुछ बातों का गंभीरता से ध्यान देते रहना चाहिए।
- रोजाना गुनगुने पानी और नमक से गरारे आपको साइनस संक्रमण से बचा सकते हैं।
- दिनभर में खूब पानी पिएं, ताकि बलगम पतला रहे और आसानी से बाहर निकल सके।
- धूल और धुएं से बचाव के लिए मास्क पहनें और प्रदूषण वाले स्थानों से दूर रहें।
- गर्म पानी से भाप लेने से नाक खुलती है और साइनस संक्रमण में राहत मिलती है।
- धूम्रपान और शराब साइनस को अधिक प्रभावित कर सकते हैं। इससे भी दूरी बनाकर रखें।

क्या कहते हैं विशेषज्ञ? | Sinus Infection
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, साइनस की समस्या आपकी जटिलताओं को बढ़ाने वाली हो सकती है। यदि साइनस बार-बार होता है और दवाओं से ठीक नहीं होता, तो डॉक्टर से संपर्क करें। प्रदूषण और एलर्जी से बचाव, नाक की सफाई और स्वस्थ जीवनशैली अपनाकर इससे बचा जा सकता है। एक अध्ययन के अनुसार, जिन लोगों को एलर्जी होती है उनमें साइनोसाइटिस होने की आशंका 40% अधिक होती है।