Diabetic Foot: शुगर लेवल अक्सर रहता है बढ़ा, हो जाइए सावधान वरना काटने पड़ सकते हैं पैर

Know What is Diabetic Foot Problem: डायबिटीज एक गंभीर समस्या है जिसके मामले सभी उम्र के लोगों में देखे जा रहे हैं। यदि आपके परिवार में पहले से किसी को डायबिटीज की समस्या रही है, आपका लाइफस्टाइल या खानपान ठीक नहीं है या फिर आप शारीरिक रूप से कम मेहनत करते हैं तो ये सभी स्थितियां आपको भी डायबिटीज का रोगी बना सकती हैं। इसके लक्षणों को पहचानना और बचाव के लिए उपाय करते रहना सभी के लिए जरूरी है। इसके अलावा जिन लोगों को डायबिटीज की दिक्कत है, ब्लड शुगर अक्सर बढ़ा हुआ रहता है ऐसे लोगों को और भी अलर्ट रहना चाहिए। आपकी थोड़ी भी लापरवाही गंभीर समस्याओं का कारण बन सकती है, कुछ लोगों को डायबिटीज के कारण पैर तक कटाना पड़ सकता है। डायबिटीज की समस्या इतनी गंभीर कैसे हो जाती है, पैर काटने की नौबत क्यों आ जाती है? आइए इस स्थिति के बारे में विस्तार से समझते हैं।

हाई शुगर के हो सकते हैं कई गंभीर नुकसान | What is Diabetic Foot Problem
डायबिटीज आपके पूरे शरीर को प्रभावित कर सकती है, यही कारण है कि जिन लोगों का शुगर लेवल अक्सर बढ़ा हुआ रहता है उन्हें आंखों, किडनी और तंत्रिका से संबंधित दिक्कत हो सकती है। डायबिटीज के कारण तंत्रिकाओं को होने वाली दिक्कत को डायबिटिक न्यूरोपैथी कहा जाता है। यही समस्या पैरों में कालापन और सड़न की दिक्कत बढ़ा देती है। डायबिटीज के कारण पैरों में होने वाली इस दिक्कत को डायबिटिक फूट के नाम से जाना जाता है, जिससे पैरों में अल्सर हो जाता है और गंभीर स्थितियों में पैरों को काटना भी पड़ सकता है।
डायबिटिक न्यूरोपैथी का पैरों पर असर | What is Diabetic Foot Problem
लगातार बने रहने वाली हाई शुगर की समस्या डायबिटिक न्यूरोपैथी का कारण बनती है, इसमें तंत्रिकाओं को क्षति होने लगती है जिससे पैरों में रक्त का संचार प्रभावित हो जाता है। अगर समय पर इसपर ध्यान न दिया जाए तो इसमें पैर के हिस्से या उंगलियां काली पड़ने लगती है और इनमें सड़न हो सकता है। यदि इसका उपचार न किया जाए तो संभवतः प्रभावित हिस्सों को काटने की भी नौबत आ जाती है। आंकड़ों से पता चलता है कि भारत में डायबिटीज से पीड़ित 6.2% लोगों को इस समस्या का खतरा रहता है। डायबिटिक फूट की दिक्कत जानलेवा भी हो सकती है।
इन लक्षणों के दिखते ही हो जाएं सावधान | What is Diabetic Foot Problem
जिन लोगों को डायबिटिक न्यूरोपैथी की समस्या होती है अक्सर उनके पैरों में दर्द, झुनझुनी बनी रहती है। इसपर अगर समय रहते ध्यान न दिया जाए तो पैर की उंगलियां और अन्य हिस्सों में रक्त का प्रवाह बाधित हो जाता है जिससे कोशिकाएं डेड होने लग जाती है। पैरों पर काले धब्बे दिखना इसका संकेत है, शुगर बढ़े रहने के कारण ये अल्सर में बदलने लगते हैं। इस स्थिति में प्रभावित हिस्से को काटने तक की भी नौबत आ सकती है। पैरों में इसका असर अधिक देखा जाता रहा है। कुछ लोगों के पैर से डिस्चार्ज होने लग जाता है। यह समस्या तेजी से बढ़ने लगती है और पूरे पैर में भी फैल सकती है। पैरों में काले दाग, फफोले, असामान्य सूजन, जलन, लालिमा, नीले निशान और अजीब गंध जैसे डायबिटिक फुट के संकेतों पर गंभीरता से ध्यान दिया जाना चाहिए।

पैरों का रखें विशेष ध्यान | What is Diabetic Foot Problem
- स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, जिन लोगों को डायबिटिक न्यूरोपैथी की समस्या है उन्हें पैरों की विशेष देखभाल करनी चाहिए।
- पैरों को गुनगुने पानी और साबुन से धोएं और अच्छी तरह से सुखाएं। पंजों के बीच में साफ-सफाई का ध्यान रखें।
- पैरों की त्वचा को ठीक से मॉइस्चराइज किया जाना चाहिए। ये दिन में दो से तीन बार जरूर करें।
- इसके अलावा, नंगे पैर न चलना, सही आकार के जूते पहनना और पैरों को किसी प्रकार की चोट से बचाकर रखना बहुत जरूरी है।
- समय-समय पर शुगर की जांच जरूर कराते रहें, अगर ये बढ़ा रहता है तो डॉक्टर की सलाह जरूर लें।
