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इन जानलेवा बीमारियों की वजह बन सकता है मोटापा, शरीर में धीरे-धीरे पनपने हैं ये 10 गंभीर रोग

भारत में पिछले 10-15 सालों लोग मोटापे का शिकार बनते जा रहे हैं। जब शरीर पर जरूरत से अधिक फैट बढ़ने लगता है तो ये सेहत के लिए हानिकारक साबित होता है। बढ़ता वजन और मोटापा न सिर्फ दिखने में खराब लगता है, बल्कि कई गंभीर बीमारियों का कारण भी बनता है। शरीर की अतिरिक्त चर्बी हड्डियों और दूसरे अंगों पर दबाव डालती है, जिससे हार्मोन बैलेंस बिगड़ता है और मेटाबॉलिज्म स्लो हो जाता है। मोटापा बढ़ने से शरीर में सूजन बढ़ने लगती है। मोटापा बढ़ने से शरीर में धीरे-धीरे कई गंभीर बीमारियों का खतरा पैदा होने लगता है, जो जानलेवा भी साबित हो सकती हैं।

टाइप 2 डायबिटीज

मोटे लोगों में टाइप-2 डायबिटीज का खतरा काफी बढ़ जाता है। ऐसा तब होता है, जब शरीर में ब्लड शुगर लेवल नॉर्मल से ज्यादा हो जाता है। इससे हार्ट और किडनी पर असर पड़ता है।

दिल की बीमारी

मोटापे से ग्रस्त लोगों में हार्ट संबंधी बीमारियों का खतरा ज्यादा पाया जाता है। ऐसे लोगों के शरीर में हार्ट तक ब्लड पहुंचाने वाली धमनियों में फैट जमा हो सकता है, जिससे हाई ब्लड प्रेशर, हाई कोलेस्ट्रॉल, ट्राइग्लिसराइड्स की समस्या हो सकती है।

स्ट्रोक

मोटापे के कारण स्ट्रोक का खतरा भी पैदा होता है। स्ट्रोक तब होता है, जब दिमाग में खून की सप्लाई बंद हो जाती है। एक स्ट्रोक दिमाग के ऊतकों को नुकसान पहुंचा सकता है।

स्लीप एपनिया

मोटे लोगों में स्लीप एपनिया जैसे विकार भी पैदा हो जाते हैं, जिसमें कोई व्यक्ति नींद के दौरान क्षण भर के लिए सांस लेना बंद कर सकता है। गर्दन के आसपास अधिक वसा जमा होने से ऐसा होता है।

हाई ब्लड प्रेशर

शरीर में अतिरिक्त फैट होने पर टिशूज को अधिक ऑक्सीजन और पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है। ब्लड सर्कुलेशन के दौरान धमनियों की दीवारों पर अतिरिक्त दबाव पड़ता है, जिससे हाई ब्लड प्रेशर की समस्या होती है और हार्ट पर प्रेशर पड़ता है।

लिवर की बीमारी

मोटापे से ग्रस्त लोगों में लिवर की बीमारी विकसित हो सकती है, जिसे फैटी लीवर या नॉनअल्कोहलिक स्टीटोहेपेटाइटिस (NASH) कहते हैं। इसमें लिवर में अतिरिक्त चर्बी जमा हो जाती है। जो लिवर को नुकसान पहुंचाती है।

गॉलब्लैडर डिजीज

ज्यादा वजन बढ़ने से पित्ताशय की पथरी के होने का खतरा बढ़ जाता है। ऐसा पित्ताशय में पित्त जमने और कठोर होने के कारण होता है। मोटापे के कारण पित्ताशय में कोलेस्ट्रॉल बढ़ने लगता है। जिससे पित्ताशय ठीक से काम नहीं कर पाता है।

कैंसर का खतरा

मोटापे और कैंसर के बीच भले ही कोई डायरेक्ट कनेक्शन न हो, लेकिन वजन बढ़ने के कारण जो खतरे पैदा होते हैं वो कैंसर का भी कारण बन सकते हैं। मोटापा बढ़ने से ब्रेस्ट कैंसर, पित्ताशय कैंसर, पैनक्रियाटिक कैंसर और लिवर कैंसर और प्रोस्टेट कैंसर का खतरा हो सकता है।

प्रेगनेंसी में समस्याएं

वजन बढ़ने से हार्मोंस गड़बड़ होते हैं, जिससे प्रेगनेंसी में समस्याएं आने लगती हैं। प्रेगनेंसी के दौरान मोटापा की वजह से डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर और लिवर से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं।

डिप्रेशन की समस्‍या

मोटापे से प्रभावित कई लोग डिप्रेशन जैसा फील करते हैं। कई रिसर्च में पाया गया है कि मोटापे और डिप्रेशन के बीच गहरा संबंध है। ऐसे लोग कई बार बॉडी शेमिंग के कारण परेशान रहते हैं। आलस और उदासी डिप्रेशन की ओर ले जाती है।

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