सिर्फ हड्डियों और इम्यून सिस्टम ही नहीं, इस भयंकर बीमारी को भी कण्ट्रोल करता है विटामिन डी

Cancer Preventing Tips in Hindi: वैश्विक स्तर पर स्वास्थ्य के लिए कैंसर गंभीर चिंता का कारण बना हुआ है। सभी उम्र के लोग इसका शिकार होते जा रहे हैं। आमतौर पर हम सभी स्तन-फेफड़े, पेट और लिवर कैंसर के बारे में तो अक्सर चर्चा करते रहते हैं, पर इन सबसे इतर त्वचा का कैंसर (स्किन कैंसर) के मामले भी साइलेंटली बढ़ते जा रहे हैं। यूरोपीय देशों में स्किन कैंसर के मामले अधिक आम हैं, पर अब भारतीय आबादी भी इसका तेजी से शिकार होती जा रही है। आंकड़ों से पता चलता है कि भारत में विशेषकर उत्तरी और पूर्वोत्तर क्षेत्रों में त्वचा कैंसर, विशेष रूप से मेलेनोमा के मामले अधिक हैं।
भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के डेटा के अनुसार इन क्षेत्रों में प्रति एक लाख पुरुषों पर 1.62 और महिलाओं पर 1.21 मामले मेलेनोमा के हैं। कुल मिलाकर, आईसीएमआर का अनुमान है कि भारत में 14 लाख से अधिक कैंसर के मामले हैं, जिनमें से लगभग हर 1 लाख लोगों में से 100 को स्किन कैंसर हो सकता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, सभी लोगों को त्वचा में होने वाले कैंसर के खतरे से बचाव के लिए निरंतर प्रयास करते रहना चाहिए।
सबसे पहले स्किन कैंसर के बारे में जानिए | Cancer Preventing Tips in Hindi
त्वचा कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसमें त्वचा की कोशिकाएं अनियंत्रित रूप से बढ़ने लगती हैं, ये संभावित रूप से शरीर के अन्य हिस्सों पर भी अटैक कर सकती हैं। अधिकांश त्वचा कैंसर सूर्य के पराबैंगनी (यूवी) विकिरण के अधिक संपर्क में आने से होते हैं। मेलेनोमा सबसे आम प्रकार का स्किन कैंसर हैं। मेलेनोमा सबसे खतरनाक प्रकार का स्किन कैंसर है, जो त्वचा में रंगद्रव्य पैदा करने वाली कोशिकाओं मेलानोसाइट्स से उत्पन्न होता है। स्किन कैंसर के खतरे को कैसे कम किया जा सकता है, इसको समझने के लिए वैज्ञानिकों की टीम ने एक अध्ययन में पाया कि अगर आप आहार या डॉक्टर की सलाह पर सप्लीमेंट्स के रूप में विटामिन-डी की मात्रा बढ़ा देते हैं तो इससे स्किन कैंसर के खतरे को 56 फीसदी तक कम किया जा सकता है।

स्किन कैंसर से बचा सकता है विटामिन डी! | Cancer Preventing Tips in Hindi
अध्ययनकर्ताओं ने बताया कि विटामिन डी सिर्फ हड्डियों और इम्यून सिस्टम के लिए ही नहीं, बल्कि स्किन कैंसर से बचाव में भी अहम भूमिका निभा सकता है। यह स्प्लीन और लिम्फ नोड्स जैसे अंगों की कार्यक्षमता बढ़ाता है और टी-सेल्स को एक्टिव करता है, जो संक्रमण व कैंसर से बचाते हैं। अध्ययनों से पता चलता है कि त्वचा कैंसर के जोखिम को कम करने में विटामिन डी की संभावित भूमिका बहुआयामी है, जो मुख्य रूप से कोशिका वृद्धि, कैंसर कोशिकाओं को बढ़ने से रोकने और प्रतिरक्षा प्रणाली को मजबूत बनाने से जुड़ी है। यह कैंसर कोशिकाओं को मारने वाले तंत्रों को ट्रिगर करके, उनकी वृद्धि को रोककर और सामान्य कोशिका विकास को बढ़ावा देकर आपको घातक बीमारी से बचाने में मददगार हो सकती है।
कोलोरेक्टल कैंसर का भी कम होता है जोखिम | Cancer Preventing Tips in Hindi
इसी तरह जर्नल न्यूट्रिएंट्स में प्रकाशित एक अन्य अध्ययन के अनुसार, विटामिन डी की पर्याप्त मात्रा कोलोरेक्टल कैंसर का खतरा 58% तक कम कर सकता है। यह कैंसर खासतौर पर युवाओं में तेजी से बढ़ रहा है। शोधकर्ताओं ने विटामिन डी और कोलोरेक्टल कैंसर पर हुई 50 अध्ययनों का विश्लेषण किया है। जिन लोगों में विटामिन डी का स्तर सबसे ज्यादा था उनमें कैंसर का खतरा 25% तक कम पाया गया। शोधकर्ताओं के मुताबिक विटामिन डी इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है, जिससे आप कैंसर से बचाव कर सकते हैं।

आहार में बढ़ाएं विटामिन-डी की मात्रा | Cancer Preventing Tips in Hindi
स्वास्थ्य विशेषज्ञ बताते हैं, 19-50 वर्ष तक की आयु वालों को नियमित रूप से 15 माइक्रोग्राम विटामिन-डी की आवश्यकता होती है। आहार के माध्यम से विटामिन-डी की आवश्यकताओं की आसानी से पूर्ति का जी सकती है। वसायुक्त मछली, फोर्टिफाइड खाद्य पदार्थ और नट्स-सीड्स से इसकी आसानी से पूर्ति हो सकती है। सूर्य की रोशनी इसका प्रमुख स्रोत है। जिन लोगों को विटामिन-डी की गंभीर कमी होती है उन्हें डॉक्टर इसके सप्लीमेंट्स की सलाह देते हैं। हालांकि खुद से किसी भी प्रकार के सप्लीमेंट्स से बचना चाहिए।